24 अप्रैल को संत निरंकारी सत्संग भवन पर लगेगा रक्तदान शिविर
संत निरंकारी मिशन के मानव एकता दिवस पर होगा रक्तदान की विश्वव्यापी श्रंखलाओं का आयोजन

उज्जैन। सतगुरु माता सुदीक्षाजी महाराज एवं निरंकारी राजपिता रमितजी के आशीर्वाद से हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी निरंकारी मिशन के पूर्व मार्गदर्शक बाबा गुरबचन सिंह जी की पावन स्मृति में 24 अप्रैल को मानव एकता दिवस मनाया जाएगा, इस उपलक्ष्य में विश्व के लगभग 500 स्थानों पर होने वाले विश्वव्यापी रक्तदान शिविरों की श्रंखला का भी शुभारंभ होगा।
उज्जैन के जोनल इंचार्ज राजकुमार गंगवानी ने बताया कि युगप्रवर्तक बाबा गुरबचन सिंह जी एवं मिशन के अनन्य भक्त चाचा प्रताप सिंह जी को अपने श्रद्धा सुमन अर्पित करने के साथ ही उनके महान जीवन से प्रेरणा हेतु 24 अप्रैल को मानव एकता दिवस पर उज्जैन के हाइवे स्थित संत निरंकारी सत्संग भवन पर सुबह 10 बजे से रक्तदान शुरू हो जायेगा। स्थानीय मुखी त्रिलोक बेलानी ने बताया कि बाबा गुरवचन सिंह जी ने सत्य के बोध द्वारा मानव जीवन को सभी प्रकार के भ्रमों से मुक्त करवाया; साथ ही समाज उत्थान हेतु अनेक कल्याणकारी योजनाओं को क्रियान्वित किया जिनमें सादा शादियां, नशामुक्ति एवं युवाओं को खेलो के प्रति प्रेरित किया। समाज में व्याप्त कुरितियों के उस दौर के उपरांत बाबा हरदेव सिंह जी के प्रेरक संदेश ‘रक्त नाड़ियों में बहे, न कि नालियों में’ द्वारा सभी श्रद्धालुओ को एक नई सकारात्मक दिशा मिली। उसी प्रेरक संदेश को प्रत्येक निरंकारी भक्त मानवता के उपकार हेतु निरंतर उसे जीवन्त रूप में अपनाकर लोककल्याणार्थ अपनी सेवाएं प्रदान कर रहे है।
संत निरंकारी मण्डल के सचिव एवं समाज कल्याण विभाग के प्रभारी जोगिन्दर सुखीजा ने बताया कि संत निरंकारी मिशन की सामाजिक शाखा संत निरंकारी चैरिटेबल फाउंडेन द्वारा मानव एकता दिवस के उपलक्ष्य में मध्य प्रदेश की लगभग 35 ब्रांचों सहित पांच सौ से ज्यादा शहरों में मानवकल्यार्थ रक्तदान शिविर आयोजित किए जाएंगे। जिसमें लगभग 50 हजार से अधिक रक्तदाता मानवता की भलाई हेतु रक्तदान कर निःस्वार्थ सेवा का उदाहरण प्रस्तुत करेंगे। मुख्य आयोजन दिल्ली के निरंकारी चौक, बुराड़ी मार्ग स्थित ग्राउंड नं. 8 में सतगुरु माता सुदीक्षा जी महाराज एवं निरंकारी राजपिता रमित जी के मार्गदर्शन में होगा।
मीडिया सहायक विनोद गज्जर ने बताया कि युगदृष्टा बाबा हरदेव सिंह जी द्वारा सन् 1986 से आरम्भ हुई परोपकार की यह मुहिम, महाअभियान के रूप में आज अपने चरमोत्कर्ष पर है। पिछले लगभग 4 दशकों में आयोजित 8644 शिविरों में 14,05,177 युनिट रक्त मानवमात्र की भलाई हेतु दिया जा चुका है और यह सेवाएं निरंतर जारी है। निचित रूप में लोक कल्याण हेतु चलाया जा रहा यह महा अभियान निरंकारी सत्गुरु माता सुदीक्षा जी महाराज की प्रदत्त सिखलाइयो को दर्शाते हुए एकत्व एवं मानवता का दिव्य संदेश प्रेरित कर रहा है जिससे निरंकारी जगत का हर प्राणी प्रेरणा प्राप्त कर अपने जीवन को कृतार्थ कर रहा है।