महिला उत्थान मंडल ने निकाली विशाल संस्कृति रक्षा यात्रा
विश्व महिला दिवस पर महिला उत्थान मंडल ने दिया नारी तू नारायणी का संदेश...

उज्जैन। “नारी तू नारायणी” का संदेश देते हुए संत श्री आशारामजी बापू द्वारा प्रेरित महिला उत्थान मंडल द्वारा 8 मार्च विश्व महिला दिवस के उपलक्ष्य में विशाल संस्कृति यात्रा निकाली गयी।
यात्रा का शुभारंभ दीप प्रज्वलन कर किया गया। चामुंडा माता मंदिर से शुरू होकर फ्रीगंज होते हुए यह यात्रा दशहरा मैदान पर समाप्त हुई। बैनर, तख्तियों व झाँकियों से सुसज्जित इस यात्रा में बड़ी भारी संख्या में महिलाओं ने भाग लिया। यात्रा के द्वारा यह संदेश दिया गया कि विश्व की 4 प्राचीन संस्कृतियों में से केवल भारतीय संस्कृति ही अब तक जीवित रह पायी है और इसका मूल कारण है कि संस्कृति के आधारस्तम्भ संत-महापुरुष समय-समय पर भारत-भूमि पर अवतरित होते रहे हैं लेकिन आज निर्दोष संस्कृति रक्षक संतों को अंधे कानूनों के तहत फँसाया जा रहा है। यात्रा में हमारे भारत देश की महान नारियों की आकर्षक झांकियों का प्रदर्शन भी किया गया। भारतीय संस्कृति की महिमा को उजागर करते हुए भजनों के साथ महिलाओं को विशेष संदेश दिया गया। इसके साथ ही नारीशक्ति का संदेश देती हुई तख्तियां भी यात्रा के आकर्षण का केंद्र रहीं। यात्रा के अंत में राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपा गया। ज्ञापन में निर्दोष संतों पर हो रहे षड्यंत्र की भर्त्सना करते हुए महिला कार्यकर्ताओं ने कहा कि ’संत श्री आशारामजी बापू ने महिला सशक्तिकरण के लिए अनेक कार्य किये हैं। महिलाओं में आत्मबल, आत्मविश्वास, साहस, संयम-सदाचार के गुणों को विकसित करने के लिए महिला उत्थान मंडलों का गठन किया है, जिससे जुड़कर कई महिलाएँ उन्नत हो रही हैं। बापूजी ने संस्कृति-रक्षा, संयम-सदाचार एवं ब्रह्मविद्या, गीता भागवत के प्रचार-प्रसार में अपना पूरा जीवन अर्पित कर दिया। मातृ-पितृ पूजन दिवस, तुलसी पूजन दिवस, वसुधैव कुटुम्बकम् व सर्वेभवन्तु सुखिनः, असतोमा सद्गमयं जैसी लुप्त हो रही परम्पराओं को पुनः आरम्भ कर भारतीय संस्कृति के उच्च आदर्शों को पुनर्जीवित किया है। सदस्या बहनों ने बताया कि देश भर में महिला मंडल द्वारा महिलाओं के सर्वांगीण विकास हेतु महिला योग साधना शिविर, गर्भपात रोको अभियान, दिव्य शिशु गर्भ संस्कार, तेजस्विनी भव अभियान, आध्यात्मिक जागरण, निःशुल्क चिकित्सा सेवा,चल चिकित्सा सेवा मातृ-पितृ पूजन दिवस, कैदी उत्थान कार्यक्रम, घर-घर तुलसी लगाओ अभियान, गौ-संवर्धन व हर अमावस्या पर गरीबों में भंडारे, दीपावली पर दरिद्रनारायण सेवा आदि समाजोत्थान के कार्य किए जाते हैं। उन्होंने कहा कि ये सारे दैवी सेवाकार्य संत श्री आशारामजी बापू की प्रेरणा से चलाए जाते हैं। महिलाओं के लिए बापूजी द्वारा किये जा रहे इन सेवाकार्यों से महिलाओं का वास्वतिक उत्थान हो रहा है। इस यात्रा में श्री योग वेदान्त सेवा समिति, महिला उत्थान मंडल की सभी सदस्या बहनें मौजूद रही।