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अल्कोहल शरीर ही नहीं परिवार को भी खत्म कर देता है- नशा परित्यागी

“एल्कोहालिक एनॉनिमस“ के अधिवेशन में नशा परित्यागियों, परिजनों ने सांझा किए अनुभव

उज्जैन। नशामुक्त हो चुके महिला, पुरुषों व उनके परिजनों का अधिवेशन उज्जैन में आयोजित किया गया। जिसमें देश भर से 200 से अधिक महिला, पुरूष सम्मिलित हुए। जिनमें अल्कोहल त्यागने वालों के अलावा कुछ नशा परित्यागियों के परिजन भी थे।
दशहरा मैदान पर सांदीपनि आर्ट्स एंड लॉ कॉलेज में आयोजित अधिवेशन में कर्नाटक से आए एक नशा परित्यागी ने अपने अनुभव साझा करते हुए बताया कि अल्कोहल सिर्फ शरीर को नहीं हमारे परिवार को भी खत्म कर देता है। अल्कोहल व्यक्ति विशेष ही नहीं वरन् उसके परिवार, आसपास के समाज को भी प्रभावित करता है इससे दूर होकर मेरा जीवन अब सामान्य हुआ है। वरूण सी के अनुसार “नशा, मुक्त भारत की सार्थक पहल पूरी दुनिया में करने वाली एकमात्र, विश्वव्यापी संस्था “एल्कोहॉलिक एनॉनिमस“ अर्थात एए वास्तविकता के धरातल पर बिना किसी खर्च, बिना दबाव नशे से आदमी को मुक्त दिलाने का कार्य कर रही है। 225 देशों में कार्यरत यह संस्था का भारतवर्ष में लगभग 60 हजार अल्कोहल एडिक्ट को अल्कोहल मुक्त बना चुकी है। स्वप्रेरणा से एल्कोहल छुडवाने का कार्य एए कर रही है। जिसमें न तो दवाई दी जाती है न इलाज किया जाता है न दबाव बनाया जाता है। विचारों के आदान-प्रदान, जीवन समस्याओं के संवाद व इनके निराकरण पर चर्चा से स्वप्रेरणा ही इसके निराकरण का मूल है। इस अधिवेशन में मध्यप्रदेश के उज्जैन, इंदौर, भोपाल, जबलपुर, ग्वालियर, रतलाम, देवास, मंदसौर, आलोट, नागदा आदि शहरों सहित राजस्थान, कर्नाटक, गुजरात, उत्तरप्रदेश, महाराष्ट्र आदि कई राज्यों के लोग सम्मिलित हुए। संस्था द्वारा पीड़ितों व उनके परिजनों की जानकारी पूरी तरह गोपनीय रखी जाती है इसलिये मात्र नाम से संबोधन होता है उपनाम नही लिखा जाता और समाचार के छायाचित्र तक प्रकाशित नहीं कराये जाते। देश भर से एल्कोहल त्यागने वालों के परिजनों ने विशेष रूप से सम्मिलित होकर अल्कोहल से दूर रहने की अपील की और आवश्यकता होने पर संस्था के फ्री हेल्पलाईन नंबर 8989506996 पर अल्कोहल एडिक्ट या उनके परिजन संपर्क कर सकते है। यह जानकारी मनोहर परमार ने दी।

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